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राम द्वारा धनुष भंग – bow broken by ram

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राम द्वारा धनुष भंग - bow broken by ramयह भी पढे – लक्ष्मीजी की अंगूठी - Lakshmiji’s ring लक्ष्मण को अत्यन्त क्रुद्ध एवं आवेश में...

धनुष यज्ञ – bow sacrifice

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धनुष यज्ञ - bow sacrificeमिथिला नरेश के वहाँ से विदा हो जाने पर ऋषि विश्वामित्र राम और लक्ष्मण को लेकर यज्ञ मण्डप में गये।...

पिनाक की कथा – story of pinaka

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पिनाक की कथा - story of pinakaदूसरे दिन प्रातःकाल राजा जनक से महर्षि विश्वामित्र ने कहा, हे राजन्! दशरथ के इन दोनों कुमारों की...

ब्राह्मणत्व की प्राप्ति – attainment of brahminhood

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ब्राह्मणत्व की प्राप्ति - attainment of brahminhoodवार्ता जारी रखते हुए शतानन्दजी ने कहा, हे रामचन्द्र! देवताओं के चले जाने के बाद विश्वामित्र ब्राह्मणत्व प्राप्त...

त्रिशंकु की स्वर्गयात्रा – Trishanku’s journey to heaven

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त्रिशंकु की स्वर्गयात्रा - Trishanku's journey to heavenयह भी पढे – पाण्डवों तथा कौरवों का जन्म - Birth of Pandavas and Kauravas इक्ष्वाकु वंश में...

विश्वामित्र का पूर्व चरित्र – Vishwamitra’s former character

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विश्वामित्र का पूर्व चरित्र - Vishwamitra's former characterराम से मिथिला के राजपुरोहित शतानन्द जी विशेष रूप से प्रभावित हुये। शतानन्द जी ने कहा, हे...

अहल्या की कथा – Ahalya’s story

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अहल्या की कथा - Ahalya's storyप्रातःकाल राम और लक्ष्मण ऋषि विश्वामित्र के साथ मिथिलापुरी के वन उपवन आदि देखने के लिये निकले। एक उपवन...

जनकपुरी में आगमन – Arrival in Janakpuri

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जनकपुरी में आगमन - Arrival in Janakpuriदूसरे दिन ऋषि विश्वामित्र ने अपनी मण्डली के साथ प्रातःकाल ही जनकपुरी के लिए प्रस्थान किया। चलते चलते...

गंगा-जन्म की कथा (2) – Story of Ganga’s birth (2)

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गंगा-जन्म की कथा (2) - Story of Ganga's birth (2)ऋषि विश्वामित्र ने आगे कहा, बहुत दिनों तक अपने पुत्रों की सूचना नहीं मिलने पर...

गंगा-जन्म की कथा (1) – Story of Ganga’s birth (1)

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गंगा-जन्म की कथा (1) - Story of Ganga's birth (1)ऋषि विश्वामित्र ने कहा, वत्स राम! तुम्हारी ही अयोध्यापुरी में सगर नाम के एक राजा...